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बिहार के बाद उत्तर बंगाल, मेघालय और मिजोरम में नमक का हाहाकार, कीमत 300 रूपये किलो तक पहुंची


बिहार से शुरू हुई नमक की कमी की अफवाह ने आज तीन और राज्यों को अपनी चपेट में ले लिया. उत्तरी बंगाल, मेघालय और  मिजोरम में नमक की कमी की अफवाह कुछ ऐसी फैली कि लोग नमक खरीदने के लिए दुकानों पर टूट पड़े. खबर है कि मिजोरम के कुछ इलाकों में तो एक किलो नमक 300 रुपये तक का बेचा गया है. तीनों राज्यों की सरकारों ने लोगों को समझाया है कि राज्यों में नमक की कोई कमी नहीं है और अफवाहों पर ध्यान न दें.
मिजोरम सरकार ने दुकानदारों को नमक की जमाखोरी के खिलाफ चेतावनी दी है. खबरों में बताया गया कि ऐजल की कुछ दुकानों ने आज सुबह सिर्फ 3 घंटे में 100 क्विंटल से ज्यादा नमक बेचा जबकि दक्षिण ऐजल के कुछ स्थानों पर एक किलो नमक 300 रूपये में बिका.
एक सरकारी बयान में कहा गया कि नमक की कालाबाजारी और जमाखोरी में शामिल लोगों को आवश्यक खाद्य पदार्थ अधिनियम 1955 की संबंधित धाराओं के तहत दंडित किया जाएगा.
बाजार से नमक के गायब होने की अफवाह के बाद दार्जिलिंग में इसकी कीमत 100 रूपये प्रति किलो पहुंच गई. जबकि मेघालय में आज सुबह नमक की कमी की अफवाह फैलने के बाद लोगों ने उंचे दामों पर नमक की खरीदारी की . इसके बाद दोनों राज्य सरकारों ने तुरंत कार्रवाई शुरू की और घोषणा की कि राज्यों में नमक का पर्याप्त भंडार है.
उत्तर बंगाल में अफवाह के कारण दार्जिलिंग, उत्तर दिनाजपुर, दक्षिण दिनाजपुर, कूच बिहार और जलपाईगुड़ी जिलों में लोगों ने डर कर नमक की खरीदारी की. देखते ही देखते नमक का भाव 150 रुपये किलो तक पहुंच गया. मेघालय में पुलिस ने बताया कि नमक की कमी की अफवाह जैसे ही फैली वैसे ही खुदरा विक्रेताओं ने आपूर्ति बंद कर दी . शिलांग में खुदरा दुकानदारों ने 150 रूपये प्रति किलोग्राम नमक अवैध रूप से बेचने का प्रयास किया .
बंगाल में एक सरकारी बयान में कहा गया, ‘‘जिला प्रशासन और खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के मुताबिक जिलों में नमक की कोई कमी नहीं है .’’ इसने लोगों को सलाह दी कि ‘‘बेजा लाभ के लिए शरारती लोगों’’ द्वारा फैलाई गई अफवाह पर ध्यान नहीं दें और कहा कि पुलिस को निर्देश दिया गया है कि अफवाह फैलाने वाले लोगों और नमक की जमाखोरी करने वाले लोगों के खिलाफ कार्रवाई की जाए.
उत्तर बंगाल विकास मंत्री गौतम देब ने सिलिगुड़ी में कहा कि उत्तर बंगाल के शहर में दो लाख क्विंटल नमक का भंडार है जो पर्याप्त है.  उन्होंने आरोप लगाए, ‘‘कुछ राजनीतिक दलों ने लालची व्यवसायियों के सहयोग से इस तरह की स्थिति पैदा की है.’’
मेघालय के खाद्य आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामलों के प्रधान सचिव पी. डब्ल्यू इंगटी ने कहा,‘राज्य की राजधानी में आज सुबह नमक की कमी की अफवाह फैल गई जो धीरे धीरे पूरे राज्य में फैल गई .’ इंगटी ने कहा,‘मैंने असम एवं अन्य राज्यों में अपने समकक्षों से इस बारे में पूछा और पाया कि यह मात्र अफवाह है .’ उन्होंने कहा कि राज्य में अगले छह महीने के लिए नमक का पर्याप्त भंडार है .
वरिष्ठ सरकारी अधिकारियों के मुताबिक राज्य की राजधानी शिलांग, तुरा, जोवाई और नोंगस्टोइन में कृत्रिम संकट पैदा किया गया है . इससे निपटने के लिए उपायुक्तों को निर्देश दिए गए कि स्थिति का जायजा लें और आवश्यक घोषणाएं करें .
राज्य में पुलिस ने उन डीलरों और खुदरा दुकानदारों के खिलाफ एक साथ कार्रवाई शुरू की जिन्होंने स्थिति का फायदा उठाने का प्रयास किया . पुलिस ने कहा कि कई लोगों को गिरफ्तार किया गया और इस बारे में पूरी रिपोर्ट की प्रतीक्षा की जा रही है .
अफवाहों के असर का अंदाजा उत्तर बिहार में नमक की कीमतों में वृद्धि की अफवाह उड़ने के बाद की स्थिति को देखकर लगाया जा सकता है. आपको बता दें कि उत्तर बिहार के शहर और ग्रामीण क्षेत्रों में अफवाह के कारण नमक की कीमत 100 रुपये तक पहुंच गई थी.