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रसोई गैस की बुकिंग को 21 दिन की अनिवार्यता खत्म

सब्सिडी वाले रसोई गैस सिलेंडर घटाने पर मच रहे बवाल के बीच पेट्रोलियम मंत्रालय ने तत्काल प्रभाव से गैस की बुकिंग और डिलीवरी के लिए न्यूनतम 21 दिन की अनिवार्यता खत्म कर दी है। साथ ही दूसरे सिलेंडर की डिलीवरी के लिए समय तय करने की जिम्मेदारी स्थानीय स्तर पर एजेंसी संचालकों को दे दी है।
नए प्रावधान के तहत स्थानीय गैस संचालक को दूसरे सिलेंडर की आपूर्ति करने से पूर्व यह सुनिश्चत करना होगा कि घरेलू गैस सिलेंडर का उपयोग
उपभोक्ता गैस गीजर या वाहन के लिए तो नहीं करने जा रहा है। इसके अलावा एक अन्य महत्वपूर्ण निर्णय में मंत्रालय ने वेबसाइट पर उपभोक्ताओं के लिए विशेष दिशानिर्देश जारी कर उनके मन में उठ रहे प्रमुख सवालों का जवाब भी दिया है। इंडियन ऑयल के रीजनल मार्केटिंग मैनेजर गुंजन ने 21 दिन की अनिवार्यता खत्म करने की पुष्टि की। उन्होंने कहा कि दूसरे सिलेंडर की आपूर्ति के लिए कोई न्यूनतम और अधिकतम समय सीमा तय नहीं की गई है। लोगों के बीच भ्रांति को दूर करने के लिए राष्ट्रव्यापी मुहिम भी शुरू की गई है। इसके तहत बताया जा रहा है कि केवाईसी [ग्राहक को जानो] फॉर्म सिर्फ उन्हीं उपभोक्ताओं को भरना है, जिनके पास एक से ज्यादा गैस का कनेक्शन है। सिंगल कनेक्शन वालों के लिए यह फॉर्म भरने की जरूरत नहीं है। यह फॉर्म भरने की तिथि भी बढ़ाकर 30 नवंबर कर दी गई है।
उपभोक्ताओं के लिए टोल फ्री हेल्प लाइन नंबर 1800-2333-555 जारी कर बताया जा रहा है कि बॉल्क हो चुके एलपीजी कनेक्शनों को फिर चालू करने और डुप्लीकेट कनेक्शन को बनाए रखने के लिए उपभोक्ता को केवाईसी की औपचारिकता को पूरा किए बिना भी बिना सब्सिडी वाले गैस कनेक्शन में बदला जा सकेगा।
गैस कनेक्शन का ट्रांसफर
उपभोक्ता परिवार के किसी सदस्य के नाम जीवन भर के लिए गैस कनेक्शन को ट्रांसफर कर सकता है। पहले ऐसा करने की अनुमति नहीं थी। उपभोक्ता एलपीजी कनेक्शन को मूल दस्तावेज के साथ किसी अन्य व्यक्ति के नाम पर भी करा सकता है। इसकी पहले अनुमति नहीं थी।