एक ओर जहां प्राकृतिक आपदा से पीडि़तों को राहत देने के मामले में बिहार सरकार के अधिकारी तत्पर दिखते हैं। वहीं नवगछिया नगर पंचायत के
वार्ड संख्या 23 के 450 बाढ़ पीडि़तों को तीन माह बीतने के बाद भी अब तक किसी भी प्रकार की सहायता राशि उपलब्ध नहीं कराई जा सकी है। जबकि इस वार्ड के वार्ड पार्षद विनोद कुमार मंडल ने इसकी लिखित सूचना 30 अगस्त 2011 को ही एसडीओ नवगछिया को दी थी। जिसे जांच हेतु नगर पंचायत भेज दिया गया। 17 दिनों बाद नगर पंचायत के कार्यपालक पदाधिकारी द्वारा 23 सितंबर 2011 को अंचल कार्यालय नवगछिया को प्रेषित कर दिया गया। अंचल कार्यालय द्वारा राजस्व कर्मचारी सह अंचल निरीक्षक को इसकी जांच करने का भार आठ अक्टूबर को सौंपा गया। इस मामले की पूरी जांच राजस्व कर्मचारी द्वारा करने के बाद 450 बाढ़ पीडि़तों में से 362 बाढ़ पीडि़तों की संशोधित सूची 13 अक्टूबर को सौंप दी गयी। जहां इस जांच के दौरान इतने दिनों बाद एक सौ घरों में पानी पाया गया था। साथ ही शेष घर बाढ़ के पानी से घिरे थे। 13 अक्टूबर को समर्पित जांच रिपोर्ट को अंचल द्वारा 25 अक्टूबर को अनुमंडल भेजा गया। इस जांच प्रक्रिया में इतना विलंब होने को लेकर एसडीओ सुशील कुमार द्वारा 18 नवंबर को अंचल अधिकारी से कारण व स्थित स्पष्ट करने को कहा है। जो पांच दिसंबर तक पूरा नहीं हो पाया है।