तीसरी या इससे ज्यादा संतान बन रही है परेशानी का कारण
इस बार हो रहे नगर पंचायत चुनाव के दौरान संतान की संख्या भी एक परेशानी का कारण बना रहा। जिसकी वजह से कई लोग प्रत्याशी या प्रस्तावक अथवा समर्थक नहीं बन सके। चुनाव आयोग के निर्देश के तहत दिनांक ०४-०४-२००८ के बाद तीसरी या इससे ज्यादा संतान पैदा नहीं होना चाहिए। जिसका एक शपथ पत्र भी संलग्न करना है।
नवगछिया नगर पंचायत चुनाव २०१२ के दौरान चुनाव आयोग के इस निर्देश का असर दो निवर्तमान पार्षद पर पडा है। जिसकी वजह से वार्ड नंबर आठ के निवर्तमान पार्षद को अपनी माता नूर जहां को प्रत्याशी बनाना पड़ गया। वहीँ वार्ड नंबर बीस के निवर्तमान पार्षद को अपने पिता कौशल किशोर भगत को प्रत्याशी बनाना पड़ गया।
इसके अलावा वार्ड नंबर छह की प्रत्याशी तारा खातून को अपना प्रस्तावक बदलना पड़ सकता है। जिसके प्रस्तावक असफाक खां ने आयोग के निर्धारित अवधि के बाद कोई संतान नहीं होने का शपथ पत्र समर्पित किया है। जिस पर इसी वार्ड के मुर्तजा आलम ने एतराज जताते हुए निर्वाची पदाधिकारी सह अनुमंडल पदाधिकारी सुशील कुमार को इसकी जानकारी दी है। जिसके तहत असफाक खां को पांच संतान है। जिसमें से तीन संतान पहले हुयी थी। दो बाद में हुयी है। जिसमें से एक संतान की उम्र साढ़े तीन साल तथा दुसरे की उम्र मात्र छह माह है। यह जानकारी मिलते ही निर्वाची पदाधिकारी ने प्रत्याशी से तत्काल संपर्क कर अपना प्रस्तावक की सही स्थिति से अवगत कराने की सलाह दी।